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अध्याय 2

सरल रेखा में गति 


​Q.1 ) स्थैतिकीऔर गतिकी को परिभाषित कीजिये ?

(i) स्थैतिकी :

"स्थैतिकी" यांत्रिकी की एक शाखा है, जिसमें विरामावस्था की वस्तुओं का अध्ययन किया जाता है।

(ii) गतिकी

"गतिकी" यांत्रिकी की एक शाखा है, जिसमें गतिमान वस्तुओं में गति उत्पन्न करने वाले कारकों को ध्यान में रखते हुए किसी वस्तु की गति का अध्ययन किया जाता है।

Q.2) गति अवस्था क्या है ? एकविमीय, द्विविमीय, त्रिविमीय गति को समझिए ।

किसी वस्तू की समय के सापेक्ष अवस्था परिवर्तन ( विस्थापन ) को गति कहते है ।

1. एकविमीय गति (One Dimensional Motion)

  • जब कोई वस्तु केवल एक ही सीधी रेखा (x-अक्ष) पर चलती है, तो उसकी गति को एकविमीय गति कहते हैं।
  • इसमें वस्तु की स्थिति को केवल एक निर्देशांक (x) से ही व्यक्त किया जा सकता है।

 उदाहरण:

  • सीधी सड़क पर चलती कार। 

2. द्विविमीय गति (Two Dimensional Motion)

  • जब कोई वस्तु समतल अथवा एक साथ दो दिशाओं (x और y-अक्ष) में चलती है, तो उसकी गति को द्विविमीय गति कहते हैं।
  • इसमें वस्तु की स्थिति बताने के लिए दो निर्देशांक (x, y) की आवश्यकता होती है।

उदाहरण:

  • फेंका गया तीर या गेंद का तिरछा पथ (Projectile Motion)।
  • नदी में चलती हुई नाव।

3. त्रिविमीय गति (Three Dimensional Motion)

  • जब कोई वस्तु आकाश अथवा एक साथ तीनों दिशाओं (x, y और z-अक्ष) में चलती है, तो उसकी गति को त्रिविमीय गति कहते हैं।
  • इसमें स्थिति को बताने के लिए तीन निर्देशांक (x, y, z) की आवश्यकता होती है।

 उदाहरण:

  • उड़ता हुआ पक्षी या विमान।
  • समुद्र में किसी मछली की गति।
  • अंतरिक्ष में उपग्रह की गति।

✨ सरल शब्दों में:

  • एकविमीय गति → सीधी रेखा पर।
  • द्विविमीय गति → समतल पर।
  • त्रिविमीय गति → पूरे अंतरिक्ष में।

Q.3) गति के प्रकार समझिए ।

गति के प्रकार

(i) रेखीय गति (Linear Motion)

जब कोई वस्तु सीधी रेखा के पथ पर चलती है, तो उसकी गति को रेखीय गति कहते हैं।

 उदाहरण: सड़क पर चलती हुई कार की गति।

(ii) वृत्तीय गति (Circular Motion)

जब कोई वस्तु वृत्ताकार पथ पर चलती है, तो उसकी गति को वृत्तीय गति कहते हैं।

 उदाहरण: पंखे का घूमना, पृथ्वी का सूर्य के चारों ओर घूमना।

(iii) घूर्णन गति (Rotational Motion)

वह गति जिसमें कोई वस्तु अपने अक्ष के चारों ओर घूमती है, उसे घूर्णन गति कहते हैं।

 उदाहरण: पृथ्वी की अपनी धुरी पर गति, चक्की का घूमना।

Q.3) दूरी-विस्थापन  को समझिए 

दूरी : समय के साथ वास्तु द्वारा तय किये गए पथ की लम्बाई को दूरी कहते हैं 

इसका मात्रक मीटर (m) होता है। यह एक अदिश राशि है 

विस्थापन : एक विशेष दिशा में वस्तू द्वारा तय किये गये पथ की दूर को विस्थापन कहते है। 

इसका मात्रक मीटर (m) होता है , यह एक सदिश राशि है

Q.4) दूरी-विस्थापन  में अंतर लिखिए 

क्रमांक गति (Distance) विस्थापन (Displacement)
1 यह किसी समयांतराल में वस्तु द्वारा तय किए गए पथ की लंबाई होती है। यह किसी समयांतराल में वस्तु की स्थिति-निर्देशांक में परिवर्तन की मात्रा होती है।
2 यह अदिश राशि (Scalar Quantity) है। यह सदिश राशि (Vector Quantity) है।
3 दूरी सदैव धनात्मक होती है। विस्थापन धनात्मक, ऋणात्मक अथवा शून्य हो सकता है।
4 दूरी सदैव विस्थापन के बराबर या उससे अधिक होती है। विस्थापन दूरी के बराबर या उससे कम होता है।

Q.5) यदि कोई वस्तू 7 मीटर त्रिज्या वाले अर्धवृत्ताकार पथ में गति करती है तो वस्तू द्वारा तय की गयी दूरी तथा विस्थापन ज्ञात कीजिए।

Solve –

 दिया है :

वृत्ताकार पथ की त्रिज्या = 7m

ज्ञात करना  है :

  • दूरी (d) = ?
  • विस्थापन (s) = ?

उप्पत्ति:

वस्तू द्वारा तय की गई दूरी = वृत्त की परिधि का आधा 

वास्तु का विस्थापन = वृत्त का व्यास 

हल  :

(1) दूरी (Distance)

अर्धवृत्त की परिधि = πr

       d= π×r

       d= π×7

       d= 22/7×7

       d= 22 m

  • विस्थापन = व्यास = 2r

      s = 2×r

      s = 2×7

      s =  14 m